Friday, October 23, 2020

तस्वीर बोलती है __अलका गुप्ता 'भारती'


निकली ही क्यूँ ...
नंगे पाँव गोरी ।
दिखी नहीं ता पै...
धूप निगोड़ी ॥ 
नाजुक कमरिया...
थामें  गगरिया ।
रूप साजे हाय !
धारि ..कटरिया ॥
जालिम है जमाना...
ये ..नजरिया ।
संभल मग भरे...
शूल कंकरिया ॥
लद गए दिन ...
पनिहार पनघट के ।
जंचे अब ना ये ...
लटके झटके ॥

-अलका गुप्ता 'भारती' 







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