मुहब्बत की बात जब भी दीवाने कहेंगे
मेरे ज़ब्त की इन्तेहा के फ़साने कहेंगे
तेरी छुअन से मुझपे जो चढता है खुमार
उतना नशा किसी में नहीं ये पैमाने कहेंगे
सारा दिन निकल जाता है भागम भाग में
आज दिल की बात तेरे सिरहाने कहेंगे
बहुत बोल चुके हम तेरी महफ़िल में
अब तुझे हाल ए दिल सुनाने कहेंगे
हर बार कहते हो कि पक्का, अगली बार
क़सम से अब तो हम इसे बहाने कहेंगे
प्यार करो तो आखिरी दम तक निभाओ
आज के बच्चे इसे उसूल पुराने कहेंगे
--निधि मेहरोत्रा
मुहब्बत की बात जब भी दीवाने कहेंगे
मेरे ज़ब्त की इन्तेहा के फ़साने कहेंगे
तेरी छुअन से मुझपे जो चढता है खुमार
उतना नशा किसी में नहीं ये पैमाने कहेंगे
सारा दिन निकल जाता है भागम भाग में
आज दिल की बात तेरे सिरहाने कहेंगे
बहुत बोल चुके हम तेरी महफ़िल में
अब तुझे हाल ए दिल सुनाने कहेंगे
हर बार कहते हो कि पक्का, अगली बार
क़सम से अब तो हम इसे बहाने कहेंगे
प्यार करो तो आखिरी दम तक निभाओ
आज के बच्चे इसे उसूल पुराने कहेंगे
--निधि मेहरोत्रा
शुक्रिया ...पसंद करने और साझा करने के लिए
ReplyDeleteशुक्रिया ...पसंद करने और साझा करने के लिए
ReplyDeletebehatareen ,aaj ke bacche inhe purana kahenge
ReplyDeleteusul chahe purane kahe....par pyar hona tho aisa hi chahiyee....sundar rachna
ReplyDeleteबहुत खूबसूरती से रची रचना
ReplyDeleteउम्दा अभिव्यक्ति