Sunday, April 2, 2017

तुम मरते किरदार को जिन्दा रखो.....विशाल मौर्य विशु


दुश्मन के हर वार को जिन्दा रखो
जीतोगे, बस हार को जिन्दा रखो

हर झूठ को दफ्न हो ही जाना है
सच लिखते अखबार को जिन्दा रखो

पहचान तो मिल ही जायेंगी कभी
तुम मरते किरदार को जिन्दा रखो
-विशाल मौर्य विशु

5 comments:

  1. बहुत सुन्दर

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  2. पहचान तो मिल ही जायेंगी कभी
    तुम मरते किरदार को जिन्दा रखो
    वाह !!
    बहुत खूब....

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  3. हर झूठ को दफ्न हो ही जाना है
    सच लिखते अखबार को जिन्दा रखो
    सच कहाँ, झूठ की उम्र छोटी होती हैं
    http://savanxxx.blogspot.in

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